वाहनों, इलेक्ट्रॉनिक्स और रोजमर्रा की वस्तुओं पर जीएसटी दरों में महत्वपूर्ण कटौती के साथ, जीएसटी परिषद ने दिवाली से पहले आम आदमी को एक बड़ा तोहफा दिया है।

नई दिल्ली: जीएसटी काउंसिल की बैठक में लिए गए बड़े फैसलों ने आम लोगों के लिए महंगाई के मोर्चे पर राहत की खबर लाई है। सरकार ने जीएसटी के स्लैब में बड़ा बदलाव करते हुए 12% और 28% के स्लैब को खत्म कर दिया है, और अब सिर्फ 5% और 18% के स्लैब रखे हैं। इस कदम से रोजमर्रा की कई चीजें, हेल्थकेयर प्रोडक्ट्स, कृषि उपकरण और यहां तक कि कारें और इलेक्ट्रॉनिक्स भी सस्ते हो गए हैं, जिससे दिवाली का जश्न और भी खास हो जाएगा।

जीवन बीमा पर सबसे बड़ी राहत
इस बदलाव का सबसे बड़ा फायदा जीवन बीमा और हेल्थ इंश्योरेंस पर हुआ है। अब इन पर लगने वाला 18% जीएसटी पूरी तरह से खत्म कर दिया गया है। इसका मतलब है कि अब आपको बीमा पॉलिसी खरीदने पर कोई जीएसटी नहीं देना होगा। पहले 1000 रुपये की पॉलिसी पर 180 रुपये जीएसटी लगता था, जो अब शून्य हो गया है। यह फैसला लाखों लोगों के लिए बड़ी बचत लेकर आया है।
रोजमर्रा की चीजें हुईं सस्ती
घरों में इस्तेमाल होने वाली कई जरूरी चीजों पर भी टैक्स घटाया गया है। हेयर ऑयल, शैंपू, टूथपेस्ट, टॉयलेट साबुन, शेविंग क्रीम, मक्खन, घी, और चीज जैसी चीजें अब 18% और 12% की जगह केवल 5% जीएसटी के दायरे में आ गई हैं। इसके अलावा, पैकेट वाली नमकीन, भुजिया और बच्चों के डायपर्स भी सस्ते हो गए हैं।
हेल्थकेयर और शिक्षा में भी राहत
स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में भी जीएसटी दरों में कटौती की गई है। हेल्थ इंश्योरेंस के अलावा, थर्मामीटर, मेडिकल ग्रेड ऑक्सीजन, और ग्लूकोमीटर जैसी मेडिकल सामग्री पर जीएसटी 18% से घटाकर 5% कर दिया गया है। शिक्षा सामग्री जैसे पेंसिल, शार्पनर, नोटबुक्स, रबर, मैप्स और ग्लोब्स अब पूरी तरह से जीएसटी-मुक्त हो गए हैं।
किसानों और वाहन मालिकों के लिए खुशखबरी
किसानों के लिए भी सरकार ने राहत दी है। ट्रैक्टर, ट्रैक्टर के टायर्स, बायो पेस्टिसाइड और सिंचाई प्रणाली (इरिगेशन सिस्टम) पर जीएसटी को 18% और 12% से घटाकर 5% कर दिया गया है। सबसे बड़ा बदलाव वाहन और इलेक्ट्रॉनिक्स क्षेत्र में देखने को मिला है। पेट्रोल और डीजल कारें (एक निश्चित सीसी और लंबाई तक), 3-व्हीलर्स, और 350 सीसी से कम की मोटरसाइकिल पर जीएसटी 28% से घटाकर 18% कर दिया गया है। इसके साथ ही, एसी, 32 इंच से ऊपर के टीवी, डिश वॉशिंग मशीन, और मॉनिटर जैसे इलेक्ट्रॉनिक्स भी 18% के स्लैब में आ गए हैं, जिससे उनकी कीमतें कम हो गई हैं।
यह फैसला आम आदमी के बजट को संभालने में काफी मददगार साबित होगा और बाजार में भी खरीददारी को बढ़ावा मिलेगा।