ज्ञानवापी को लेकर सीएम योगी आदित्यनाथ (Yogi Aditynath) के बयान से यूपी की सियासत गरमा गई है। मुख्यमंत्री के बयान पर समाजवादी पार्टी (Samajwadi party) के सांसद शफीकउर्रहमान बर्क (Shafiqur Rahman Barq) और डॉ एसटी हसन (Dr ST Hasan) ने पलटवार किया है।
सपा सांसद शफीकुर्रहमान बर्क ने कहा है कि ‘मुसलमानों से कोई गलती नहीं हुई और न ही मुसलमानों ने झगड़े किए… उन्होंने दावा किया कि ‘ज्ञानवापी में कोई त्रिशूल नहीं था, हम तो ऐसा नहीं मानते और न ही वहां ऐसा कुछ मिला है’। शफीकुर्रहमान ने यह भी कहा कि ‘देश के अंदर कानून मौजूद है, लोकतंत्र है देश में सबको हर मजहब वाले को अपने अपने मजहब पर रहने और अपनी बात कहने का हक दिया गया है। दूसरों को भी जीने का मौका दीजिए। उनके साथ इस किस्म का जुल्म ज्यादती करना गलत है’।
सपा के दूसरे सांसद डॉ. एसटी हसन का कहना है कि वहां पर पिछले 300 सालों से नमाज चल रही थी। जिस दौरान यह सब हुआ था उस वक्त देश में मुगल शासकों का राज था। इस तरह हम अपने भाइयों के बीच दरार क्यों डाल रहे हैं। इससे जनता को नुकसान होगा। सिर्फ वोट की राजनीति करने वालों को ही इसका फायदा है। सपा सांसद ने कहा कि देश में ऐसी 3000 मस्जिदें हैं जो विवादित हैं। उन्होंने कहा कि ये सब सिर्फ 2024 के लिए हो रहा है। हम प्यार मोहब्बत से देश में रहते आए हैं, रह रहे हैं और रहते रहेंगे।
बताते चलें कि समाचार एजेंसी एएनआई के पॉडकास्ट प्रोग्राम में सीएम योगी आदित्यनाथ ने ज्ञानवापी मामले पर कहा कि ‘अगर हम उसे मस्जिद कहेंगे तो विवाद होगा ही… ज्ञानवापी के अंदर देव प्रतिमाएं हैं, ये प्रतिमाएं हिन्दुओं ने तो रखी नहीं है…हम इसका समाधान चाहते है’ सीएम योगी ने कहा कि इसके लिए तो खुद मुस्लिम पक्ष को कहना चाहिए कि ये एतिहासिक गलती हुई है।